कुदरत के अनमोल खजाने जल के दुरुपयोग पर लगे जुर्माना
भीलवाड़ा । विश्व जल दिवस पर आज भारतीय सांस्कृतिक निधी (इन्टेक) के तत्वाधान में स्थानीय एसडीए सीनियर सेकेन्ड्री स्कूल में जल संरक्षण व प्रबंधन विषय पर विचार गोष्ठी आयोजित की गई। मुख्य वक्ता इन्टेक भीलवाड़ा चेप्टर कन्वीनर बाबूलाल जाजू ने जीवन में जल का महत्व बताते हुए कहा कि जल कुदरत का अनमोल खजाना है व इसके बिना प्राणी जगत के अस्तित्व की कल्पना भी नहीं की जा सकती है। उन्होंने पानी बचाने के हर संभव प्रयास करने पर बल देते हुए कहा कि जल हे तो कल है। अगर पानी नहीं रहेगा तो धरती पर जीवन भी नहीं रहेगा। उन्होंने कहा कि पानी को फिजूल बहाने वाले लोगों पर जुर्माना लगना चाहिए तथा सरकारी भवनों में वाटर हार्वेस्टिंग में लापरवाही करने वाले अधिकारियों के खिलाफ भी कड़ी कार्यवाही होनी चाहिए चेप्टर को-कन्वीनर श्यामसुंदर जोशी ने झील-जलाशय, कुंड-बावड़ी और अन्य प्राकृतिक धरोहर स्थलों को बचाने के साथ-साथ जल संरक्षण एंव जल संवर्धन के लिए जन जागरुकता पैदा करने की प्रेरणा दी। इन्टेक विद्यालय कार्यक्रम प्रभारी गुमानसिंह पीपाड़ा व सुरेश सुराणा ने छात्राओं से कहा कि वे वाश बेसिन में हाथ धोने व स्नान में तथा स्कूटर व कार धोने में कम पानी का उपयोग करने सहित छोटी-छोटी सावधानियां बरत कर घरेलू उपयोग में आने वाले पानी को अपने स्तर पर बचाने के प्रयास करें । विद्यालय प्रींसीपल रोशनलाल कुमावत ने जल प्रदूषण की रोकथाम के लिए सामाजिक स्तर पर सख्ती से प्रयास करने की जरुरत बताई। संगोष्ठी में विद्यालय की प्रभा मेहरा, नीलम गुप्ता व श्वेता शर्मा ने भी अपने विचार व्यक्त किये। एसडीए स्कूल में जल संरक्षण एवं प्रबंधन विषय पर पोस्टर प्रतियोगिता भी आयोजित हुई जिसमें 67 छात्र-छात्राओं ने भाग लिया। विजेताओ को इंटेक की तरफ से सर्टिफिकेट व स्मृति चिन्ह प्रदान किये जायेंगे। अंत में जाजू ने सभी छात्राओं और उपस्थित व्यक्तियों को जल संरक्षण एवं प्रबंधन की प्रतिज्ञा दिलवाई । |
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