बजट 2021: आयकार की धारा 80सी के तहत कर छूट की सीमा हो 2.5 लाख, साल 2014 से नहीं हुआ कोई बदलाव

 

कोरोना महामारी के बीच पेश किये जानेवाले आम बजट को लेकर विशेषज्ञों औैर करदाताओं को काफी उम्मीदें हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि वित्त वर्ष 2021-2022 के लिए एक फरवरी को पेश किए जानेवाले बजट में करदाताओं को राहत दी जा सकती है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण आयकर की धारा 80सी के तहत मिलनेवाली छूट की सीमा को बढ़ाकर 2.5 लाख रुपये सकती हैं। वर्तमान में 80सी के तहत निवेश में छूट की सीमा 1.5 लाख रुपये है।

साल 2014 से बदलाव नहीं हुआ

सीए अमित मेहता ने बताया कि आयकर की धारा 80सी के तहत मिलने वाली कर छूट की सीमा में 2014 से कोई बदलाव नहीं किया गया है। इससे पहले 2003 में इस धारा के तहत कर छूट की सीमा एक लाख रुपये तय की गई थी। यानी, लगभग 18 साल हो गए जब एक लाख रुपये की सीमा तय की गई थी। वहीं, 2014 में 50 फीसदी की बढ़ोतरी की गई थी जो कि सालाना सिर्फ 3% हुआ। इस दौराना बढ़ी मंहगाई की तुलना में सालाना बढ़ोतरी काफी नहीं है। ऐसे में 80सी के तहत कर छूट की न्यूनतम सीमा 2.5 लाख रुपये करने की जरूरत है।

 

स्वास्थ्य खर्च में छूट पर भी मिले राहत

एक करदाता ने कहा कि महंगाई बढ़ने के साथ स्वास्थ्य खर्च की लागत में तेजी से बढ़ोतरी हुई है। कोरोना महामारी के बाद स्वास्थ्य बीमा अनिवार्यता बन गई है। ऐसे में स्वास्थ्य बीमा खर्च पर धारा 80 डी के तहत छूट की सीमा को आम व्यक्ति के लिए बढ़ाकर 75 हजार रुपये और वरिष्ठ नागरिकों के लिए 1 लाख रुपये करने की जरूरत है। इसके अलावा वेतनभोगी वर्ग को 50 हजार रुपये की मानक कटौती दी गई है। इसमें संशोधन कर 1 लाख रुपये किया जाए।

गृह ऋण पर भी बढ़े छूट की सीमा

विशेषज्ञों का कहना है कि इस बजट में सरकार को करदाताओं को होम लोन पर छूट के दायरे का विस्तार करना चाहिए। वर्तमान में गृह ऋण के मूलधन भुगतान पर धारा 80सी के तहत 1.5 लाख रुपये का छूट मिलता है। उसी तरह ब्याज भुगतान पर धारा 24बी के तहत 2 लाख रुपये का फायदा मिलता है। इस बार बजट में इन सभी को मिलाकर एक अलग धारा के तहत पांच लाख रुपए कर देनी चाहिए। नए सेक्शन में कोई टर्म और कंडिशन नहीं हो जिससे घर खरीदार इसका फायदा अपने हिसाब से उठा सके।

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