राजसमंद विधायक इस्तीफा दें: कांग्रेस

राजसमंद (राव दिलीप सिंह)। विधायक किरण माहेश्वरी कोराना महामारी के दौरान प्रतिदिन सौ चूहे खाकर बिल्ली हज को निकली वाली कहावत चरितार्थ कर रही हैं। यह बात जिला कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष देवकीनंदन गुर्जर ने कही। गुर्जर ने आरोप लगाया कि कोविड-19 के दौरान केंद्र व राज्य सरकार तथा प्रशासन लगातार इससे निपटने के लिए दिन रात मेहनत कर रहा है, दूसरी ओर विधायक ने 50 दिनों से लगातार विरोध का बिगुल बजाकर कोरोना महामारी के कर्म वीरों को हतोत्साहित करने में कोई कसर नहीं छोड़ी है। वास्तविक स्थिति यह है वो स्वयं कोराना महामारी के दौरान कुछ भी योगदान नहीं देकर उल्टा नियमों की अवहेलना करके प्रशासन को अनेक बार मुसीबतों में डाल चुकी हैं।
गुर्जर ने बताया कि विधायक किरण माहेश्वरी ने राजसमंद विधानसभा क्षेत्र के ग्राम पंचायतों में 100 किट प्रत्येक ग्राम पंचायत, जिसमें 300 रुपए की अपर्याप्त खाद्य सामग्री के रूप में बंटवाई है जबकि 300 रुपये की सामग्री से कितने दिन निकल सकते हैं, ये सर्वव्यापी है। इसके लिए उन्होंने केवल 13.50 लाख रुपए दिए हैं। नगर परिषद क्षेत्र के लिए उन्होंने विधायक निधि से मात्र 100000 रुपए इस संकट से निपटने को दिए हैं। मंत्री रहते हुए नगर परिषद की राशि से ढोल नगाड़े बजवाना और माला पहनना तथा अपने समर्थकों को माला पहनाकर लाखों रुपए बर्बाद करने वाली विधायक आज मुंह छुपा कर बैठी है। चुनाव के दौरान विधायक ने अपने प्रचार में कहा कि मैं राजसमंद की मूल निवासी हूं मगर कोविड-19 के दौरान लगातार उदयपुर में रहकर वे साबित कर चुकी हैं कि वह राजसमंद जिले की निवासी नहीं होकर उदयपुर की रहने वाली प्रवासी प्रत्याशी हैं। राजसमंद की जनता समझ चुकी है कि किसी तरह की कोई मदद नहीं करने को लेकर भारतीय जनता पार्टी का आम कार्यकर्ता भी परेशान है।
कांग्रेस जिलाध्यक्ष ने आरोप लगाया कि देशभर में धार्मिक आयोजन लगभग बंद हैं उसके बावजूद विधायक ने 7 तारीख को अपने उदयपुर आवास पर सत्यनारायण की कथा करते हुए सोशल मीडिया पर लाइव कास्ट करते हुए जनता को महामारी से निपटने के लिए कथा करना बताया है। इस दौरान कथा समापन के समय पूरा परिवार आरती उतारते हुए सोशल डिस्टेंस की धज्जियां उड़ाते नजर आ रहा है।
जिला कांग्रेस सचिव कुलदीप शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार प्रवासियों के साथ अपराधियों जैसा व्यवहार करने के विधायक के आरोप के संदर्भ में अन्य राज्यों के मुकाबले सर्वाधिक प्रवासी राजस्थान में आए और उन्हें जो सुविधा दी गई हैं वह तारीफ -ए-काबिल है। विधायक ने मुंबई से प्रकाशित एक दैनिक अखबार में 26 अप्रैल को विज्ञप्ति जारी करके कहा कि प्रवासियों को लाने की अभी कोई रणनीति नहीं बनी जबकि 24 अप्रैल को ही राज्य सरकार ने प्रवासियों को लाने की स्वीकृति दे दी थी। जनता की अपराधी विधायक किरण माहेश्वरी को जनता का अपराधी मानते हुए अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए।


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