राजस्थान में किसानों का बंद फेल: हरियाणा से सटे हनुमानगढ़, शाहजहांपुर बॉर्डर समेत एक-दो जगह बंद का असर, बाकी प्रदेश में बाजार पूरी तरह खुले

 

जयपुर। किसान आंदोलन के नेतृत्व की ओर से राष्ट्रव्यापी बंद का आह्वान राजस्थान में फेल हो गया है। सुबह से दोपहर तक प्रदेश के एक-दो जिलों के सीमावर्ती इलाकों को छोड़कर राजधानी जयपुर समेत तमाम जिलों में मंडी और बाजार पूरी तरह खुले हुए हैं। हनुमानगढ़ और शाहजहांपुर बॉर्डर पर बंद के आह्वान का असर दिखाई दिया है और किसान नेताओं ने दुकानें बंद कराई हैं।
जयपुर व भीलवाड़ा में सुबह से ही बाजार खुले रहे। यहां और दिनों की तरह सामान्य कामकाज हुआ तथा ऑफिस व बैंक भी खुले रहे। कृषि कानूनों के खिलाफ  देशव्यापी बंद के आह्वान का असर पंजाब से सटे हनुमानगढ़ में दिखाई दे रहा है। यहां किसान नेताओं ने मंडियां बंद करा दी और बाजारों में शटर डाउन करा दिए। आंदोलन कर रहे मोर्चे की ओर से शुक्रवार को बंद का आह्वान किया गया है।
हनुमानगढ़ में सुबह मंडी खुलने लगी थी, लेकिन किसान नेताओं ने ऐसा नहीं होने दिया। जगह-जगह समूह बनाकर किसानों ने न केवल मंडियों को बंद करा दिया, बल्कि शहर के बाजारों में भी शटर डाउन करा दिए। हालांकि व्यापारियों की ओर से किसानों को खुला समर्थन नहीं दिया गया था, लेकिन बंद के आंदोलन के चलते उन्होंने शटर डाउन कर दिए।
बीकानेर: कृषि कानूनों के खिलाफ  चल रहे आंदोलन के तहत बीकानेर में आंशिक असर रहा। शहर में जहां सुबह 11 बजे तक बाजार कुछ बंद रहे लेकिन 12 बजते-बजते सभी दुकानें खुलनी शुरू हो गई। वहीं ग्रामीण क्षेत्रों में अकेले लूणकरनसर में बंद का असर प्रभावी नजर आया, जबकि माक्र्सवादी कम्युनिष्ट पार्टी के विधायक गिरधारी महिया के श्रीडूंगरगढ़ में ही बंद पूरी तरह बेअसर रहा। श्रीडूंगरगढ़ में बंद बेअसर रहा लेकिन लूणकरनसर में बंद का असर रहा। यहां बारह बजे तक भी मुख्य बाजार पूरी तरह बंद थे। सुबह सवेरे ही बंद समर्थकों ने सड़कों पर उतरकर बाजार बंद करवा दिए थे। उधर, खाजूवाला में भी बंद प्रभावी नजर आया। क्षेत्र में मंडी को बंद करवाया गया। वहीं मुख्य बाजार, बस स्टेंड के आसपास का क्षेत्र भी पूरी तरह बंद रहा।
कोटा: कोटा में भारत बंद का असर नजर नहीं आया। बाजारों में दुकानें खुली नजर आई। रैली में गिनती के किसान व महिलाएं मौजूद थीं। प्रदर्शनकारियों से ज्यादा पुलिसकर्मियों की संख्या नजर आई। कोटा में भी किसान संगठन बंद को सफल बनाने में जुट गए हैं। किसान संघर्ष समन्वय समिति की अगुवाई में किसानों ने सुबह साढ़े छह बजे कृषि उपज मंडी समिति (फल-सब्जी) बंद करवा दी और गेट के बाहर ही धरने पर बैठ गए। इसके बाद घटोतकच्छ सर्किल से रैली निकाली। रैली में किसान संगठन के लोग व्यापारियों से दुकान बंद करने की अपील करते नजर आए।

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