बैंकों में ब्याज दर युद्ध: एसबीआई महिलाओं को ज्यादा सस्ता दे रहा होम लोन


आज अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस है। इस अवसर पर महिलाओं के लिए एक खुशखबरी है। बैंकों के बीच जारी ब्याज दर युद्ध के बीच एसबीआई  31 मार्च तक 75 लाख रुपये का ऋण 6.7 फीसद तथा इससे ऊपर का कर्ज 6.75 फीसद ब्याज पर देगा। साथ ही इस पर कोई प्रोसेसिंग शुल्क नहीं लिया जाएगा। इसके अलावा यदि महिलाएं मोबाइल ऐप योनो के जरिये आवेदन करेंगी तो उन्हें अतिरिक्त 0.05 फीसद की छूट दी जाएगी। यह बातें एसबीआई की उप प्रबंध निदेशक (खुदरा कारोबार) सलोनी नारायण ने कही है।

 

बता दें अत्यधिक कैश के बीच सामान्य कर्ज की मांग वांछित स्तर से नीचे रहने के बीच देश के प्रमुख बैंकों ने अपनी आवास ऋण दरों को घटाकर एक दशक के निचले स्तर पर ला दिया है। इनमें भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई), एचडीएफसी, आईसीआईसीआई बैंक और कोटक महिंद्रा बैंक शामिल हैं। इससे ग्राहकों के पास अपने घर के सपने को पूरा करने के लिए कर्ज के कई विकल्प उपलब्ध हो गए हैं।

सस्ते कर्ज से ग्राहकों को लुभा रहे बैंक

एसबीआई और कोटक महिंद्रा बैंक ने अपने आवास ऋण की दर घटाकर क्रमशः 6.7 फीसद और 6.65 फीसद कर दी है। हालांकि, इस दर पर सिर्फ उन्हीं ग्राहकों को कर्ज मिलेगा, जिनका क्रेडिट स्कोर 800 या अधिक होगा। ब्याज दर युद्ध की शुरुआत देश के सबसे बड़े भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) ने की थी। एसबीआई ने अपनी आवास ऋण दर को 0.10 फीसद घटाकर 6.7 फीसद कर दिया है। साथ ही उसने प्रोसेसिंग शुल्क में भी छूट दी है।

ब्याज दरें घटाने की लगी है होड़

कोटक महिंद्रा बैंक और एसबीआई के बाद एचडीएफसी ने भी अपने नए और मौजूदा ग्राहकों के लिए आवास ऋण दर को असीमित अवधि के लिए 0.05 फीसद घटाकर 6.75 फीसद कर दिया था। बाद में एचडीएफसी ने आवास ऋण दर में 0.05 फीसद की और कटौती की। साथ ही प्रोसेसिंग शुल्क को 3,000 रुपये निश्चित कर दिया। एचडीएफसी को छोड़कर अन्य बैंकों की नई दरें सिर्फ 31 मार्च तक हैं। इसके बाद आईसीआईसीआई बैंक ने भी पांच मार्च को 75 लाख रुपये तक के आवास ऋण पर ब्याज दर को घटाकर 6.7 फीसद कर दिया। 75 लाख रुपये से अधिक के कर्ज के लिए ब्याज दर 6.75 फीसद होगी।

होम लोन क्यों हो रहा सस्ता

इसके अलावा भारतीय रिजर्व बैंक भी बैंकों से ब्याज दरों में नीतिगत दरों में आई कमी के अनुरूप कटौती के लिए दबाव बना रहा है। मार्च, 2020 से रिजर्व बैंक ने रेपो दर को दो फीसद घटाकर चार फीसद कर दिया है। हालांकि, इसके बावजूद ऋण की मांग छह फीसद से कम है।

बैंकों के पास 6.5 लाख करोड़ की नकदी

अत्यधिक तरलता की स्थिति के बीच बैंकों में ब्याज दर युद्ध छिड़ा हुआ है। केयर रेटिंग्स के अनुसार पिछले सप्ताह तक बैंकों के पास 6.5 लाख करोड़ रुपये की नकदी थी। अत्यधिक नकदी से बैंकों का मुनाफा प्रभावित होता है, क्योंकि उन्हें जमाकर्ताओं को इसके लिए ब्याज देना होता है। हालांकि, इसकी ब्याज दर अभी 2.5 फीसद के निचले स्तर पर है।

आवास ऋण में एनपीए कम

 

मौजूदा परिदृश्य में आवास ऋण बैंकों के लिए सबसे सुरक्षित दांव है। इसमें गैर-निष्पादित आस्तियां (एनपीए) कम होती हैं। एसबीआई का आवास ऋण एनपीए सिर्फ 0.67 फीसद है। आवास ऋण के मामले में महामारी की वजह से ग्राहक भी लाभ की स्थिति में हैं। संपत्ति के दाम घटे हैं। वहीं कई राज्यों ने स्टाम्प शुल्क भी घटाया है। हालांकि, इसके बावजूद बैंक ऋण के लिए दरों में भिन्नता रख रहे हैं। ग्राहकों को कर्ज देने से पहले उनका 'क्रेडिट स्कोर देखा जाता है।

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