गहलोत के बयान से कांग्रेस चकित, जयराम रमेश बोले- संगठन सर्वोपरि है, मिल-बैठकर हल निकालेंगे

 


राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सचिन पायलट पर जो टिप्पणी की, उससे कांग्रेस भी चकित है। कांग्रेस के मीडिया विभाग के प्रमुख जयराम रमेश को कहना पड़ा कि कांग्रेस में डर का माहौल नहीं है। हमारा हाईकमान तानाशाह नहीं है। पार्टी के नेता जो मन में आते हैं, वह बोल रहे हैं। अशोक गहलोत काफी अनुभवी नेता हैं। उनसे इस तरह के बयान की उम्मीद नहीं है। यह अप्रत्याशित लगा। 



दरअसल, गहलोत ने दो दिन पहले एक इंटरव्यू में कहा कि सचिन पायलट गद्दार हैं। उन्होंने भाजपा के साथ मिलकर बगावत करने की कोशिश की। दस-दस करोड़ रुपये विधायकों को दिए गए, इसकी पुष्टि कर सकता हूं। दस विधायक उनके साथ नहीं हैं, उन्हें सीएम के तौर पर कोई स्वीकार नहीं करेगा। देर शाम को पायलट की भी सधी हुई प्रतिक्रिया आई। उन्होंने पलटवार किया कि गहलोत एक वरिष्ठ नेता हैं और उनसे ऐसे बयान की उम्मीद नहीं थी। वह मुझे गद्दार, नाकारा और निकम्मा कहते हैं, लेकिन मेरी परवरिश ऐसे शब्दों का इस्तेमाल करने की नहीं है। इस समय हमें कांग्रेस को मजबूत करना है। राहुल गांधी का हाथ मजबूत करना है। 

खैर, राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा 4 दिसंबर को राजस्थान में प्रवेश करेगी। उससे पहले मचे घमासान ने कांग्रेस में नीचे से ऊपर तक सिंहरन पैदा कर दी है। जयराम रमेश ने कहा कि कांग्रेस को उनके जैसे अनुभवी नेता की जरूरत है। सचिन जैसे ऊर्जावान और लोकप्रिय नेता भी हमारी आवश्यकता है। जल्द ही राजस्थान के मामले में हल निकाला जाएगा। जो भी हल निकलेगा, वह व्यक्ति आधारित नहीं होगा। संगठन को सर्वोपरि मानकर ही हल निकाला जाएगा।

शिवराज पर बरसे जयराम रमेश 
जयराम रमेश ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि हम अब तक छह राज्यों में घूमे हैं, लेकिन वहां की सड़कें अच्छी थी। मध्यप्रदेश में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान बड़ी-बड़ी बातें करते हैं। प्रदेश की सड़कों की तुलना वॉशिंगटन की सड़कों से करते हैं लेकिन खंडवा, बुरहानपुर और खरगोन जिले की सड़क पर चलने में मुझे खतरा महसूस हुआ। सड़कों पर गड्ढे ही गड्ढे हैं। 

भाजपा हमारे नेता की दाढ़ी के बजाए गरीब की थाली की चिंता करें
जयराम रमेश के साथ कन्हैया कुमार भी मौजूद थे। उन्होंने पत्रकारों से कहा कि जब यात्रा कन्याकुमारी से शुरू हुई थी तो यह कांग्रेस के लिए उत्सव थी। अब यह महोत्सव बन चुकी है। ऐसे लोग इस यात्रा से जुड़ रहे हैं जो देश में भाईचारा और अमन चाहते हैं। भाजपा यात्रा के मामले में उलजुलूल मुद्दों को हवा देती है। कभी हमारे नेता राहुल गांधी की टी-शर्ट पर तो कभी जूतों पर सवाल उठाए जाते हैं। हाल ही में उनकी दाढ़ी पर टिप्पणी की गई। भाजपा हमारे नेता की दाढ़ी के बजाय गरीब की थाली की चिंता करें, क्योंकि गरीब की थाली लगातार महंगी होती जा रही है। तेल, शक्कर, दाल खरीदना गरीब के बस की बात नहीं रही। कन्हैया ने कहा कि भाजपा देशवासियों को बांटने की कोशिश कर रही है। वह जानती है कि यदि देशवासी एकजुट रहेंगे तो सड़क, पानी, बेरोजगारी के मुद्दे पर चर्चा होगी।

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