पीएचईडी के पूर्व कनिष्ठ अभियंता व हेल्पर ने 12 साल पहले ली थी 5 हजार रुपये की रिश्वत, अब मिली चार-चार साल की सजा

 


 भीलवाड़ा प्रेमकुमार गढ़वाल. 
पीएचईडी, शाहपुरा के तत्कालीन कनिष्ठ अभियंता सोहन लाल मीणा व हेल्पर पवन कुमार शर्मा को 4-4 साल की सजा और 20-20 हजार रुपये के जुर्माने से दंडित किया है। फैसला, शुक्रवार को भीलवाड़ा (bhilwara)एसीबी कोर्ट ने सुनाया है। बता दें कि ये दोनों आरोपित पेयजल सप्लाई पर लगे टैंकर के बिल पास करने की एवज में 2010 में 5 हजार रुपये की रिश्वत लेते पकड़े गये थे।
एसपीपी कृष्णकांत शर्मा ने बीएचएन से कहाकि शाहपुरा तहसील के लूलांस गांव निवासी ज्ञानचंद जैन ने आठ जून 2010 को एसीबी में शिकायत दर्ज करवाई थी। जैन ने शिकायत में कहा था कि वह पीएचईडी के आदेश से लूलांस गांव में पेयजल सप्लाई करता था। 
पेयजल सप्लाई के अप्रैल-मई 2010 के 48 हजार 384 रुपये के बिल बकाया चल रहे थे। बिल पास करने के लिए उसने पीएचईडी में बिल पेश किये। इन बिलों के भुगतान की एवज में पीएचईडी, शाहपुरा के कनिष्ठ अभियंता सोहनलाल पुत्र लक्ष्मीनारायण मीणा 5 हजार रुपये की रिश्वत की मांग कर रहा है। एसपीपी शर्मा ने बीएचएन को बताया कि जैन से यह रिश्वत राशि, कनिष्ठ अभियंता सोहनलाल मीणा के कहने पर विभाग के ही हेल्पर पवनकुमार शर्मा ने ली थी। दोनों को जैन की शिकायत पर एसीबी ने गिरफ्तार कर रिश्वत राशि बरामद की थी। इस मामले की तफ्तीश के बाद एसीबी ने एसीबी कोर्ट में आरोप-पत्र पेश किया। न्यायालय में सुनवाई के दौरान अभियोजन पक्ष की ओर से 12 गवाह पेश कर पूर्व कनिष्ठ अभियंता मीणा व हेल्पर शर्मा पर लगे आरोप सिद्ध किये। इसके बाद शुक्रवार को कोर्ट ने आरोपित सोहन लाल मीणा व हेल्पर पवन कुमार शर्मा को  4-4 साल की कठोर सजा और 20-20 हजार रुपये के जुर्माने से दंडित किया। 

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